झाबुआ~आटा 2 रुपए महंगा, थोक में 32 तो,खेरची के भाव 35 रुपए प्रति किलो पर पहुंचे~~
गेहूं के भाव 2880 रुपए क्विंटल पहुंचे,फसल पकने तक भाव इसी प्रकार रहेंगे~~गेहूं के भाव एक बार फिर तेजी लिए हुए है। कृषि मंडी में इस माह लंबे समय से गेहूं के भाव 2800 रुपए क्विंटल के आस-पास है। बाजार मे गेहूं की मांग बढ़ने और स्टाक नहीं होने से दामों मे तेजी है। इसका सीधा असर हर घर के किचन मे उपयोग आने वाले गेहूं आटे पर पड़ा है। थोक मे 28 से 30 रुपए प्रति किलो मिलने वाला आटा आज थोक में ही 30 से 32 और खेरची में 35रुपए किलो तक बिक रहा है।
सबसे ज्यादा असर गरीब और मध्यम वर्गीय परिवार पर .......................
महंगाई की इस मार का सबसे ज्यादा असर गरीब और मध्यम वर्गीय परिवार पर पड़ रहा है। दूसरी तरफ सोयाबीन तेल के भाव एक बार फिर बढ़ने लगे हैं। गेहूं का आटा एक ऐसी खाद्य सामग्री है,जिसका उपयोग हर वर्ग करता है। व्यापारियों के अनुसार आटे के भाव इस साल लंबे समय से काबू में थे। आटा थोक में 28 से 30 रुपए प्रति किलो के आस-पास ही था।
पिछले साल निर्यात के कारण भाव में तेजी थी..................
पिछले साल निर्यात के कारण भाव में तेजी से आटा थोक में 29 से 31 रुपए किलो तक पहुंच गया था। किन्तु इस साल लंबे समय से भाव सामान्य रहे। इस माह गेहूं की मांग बढ़ने और मांग व पूर्ति में अंतर होने के कारण मंडी में गेहूं के भाव आसमान छू रहे हैं। पिछले साल निर्यात के समय ही गेहूं के अधिकतम भाव 2810 रुपए प्रति क्विंटल तक पहुंचे थे। किन्तु नवंबर में यह 2880 रुपए क्विंटल के आस-पास है। किराना व्यापारियों व आटा चक्की संचालको के अनुसार विभिन्न कंपनियों का पैकिंग और चक्की पर जो आटा 15 दिन पहले तक थोक में 28 से 30 रुपए प्रति किलो बिक रहा था, वह 30 से 32 रुपए किलो तक हो गया है। जबकि आटा चक्की सहित किराना दुकानों पर खेरची 35 रुपए किलो में बिक रहा है।
पिछले साल निर्यात के कारण भाव में तेजी से आटा थोक में 29 से 31 रुपए किलो तक पहुंच गया था। किन्तु इस साल लंबे समय से भाव सामान्य रहे। इस माह गेहूं की मांग बढ़ने और मांग व पूर्ति में अंतर होने के कारण मंडी में गेहूं के भाव आसमान छू रहे हैं। पिछले साल निर्यात के समय ही गेहूं के अधिकतम भाव 2810 रुपए प्रति क्विंटल तक पहुंचे थे। किन्तु नवंबर में यह 2880 रुपए क्विंटल के आस-पास है। किराना व्यापारियों व आटा चक्की संचालको के अनुसार विभिन्न कंपनियों का पैकिंग और चक्की पर जो आटा 15 दिन पहले तक थोक में 28 से 30 रुपए प्रति किलो बिक रहा था, वह 30 से 32 रुपए किलो तक हो गया है। जबकि आटा चक्की सहित किराना दुकानों पर खेरची 35 रुपए किलो में बिक रहा है।
क्यों महंगी हुई गेहूं की रोटी......
गेहूं महंगा आ रहा है और उसके बाद छंटाई और पीसाई खर्च भी लगता है। थोक से लेकर फुटकर तक का मुनाफा भी देखना होता है,ऐसे में थोक भाव से आटा 1 से 3 रुपए किलो तक बाजार में महंगा रहता है।
पिछले साल निर्यात के कारण भावों पर पड़ा था असर................
पिछले साल निर्यात के कारण असर पड़ा था, किन्तु निर्यात पर प्रतिबंध लगने से भाव काबू में आ गए थे। पैकिंग आटा जीएसटी के दायरे मे आने से भाव में कुछ असर पड़ा था। गेहूं की बोवनी चल रही है और फसल पकने तक आटे के भाव इसी प्रकार रहेंगे। सोयाबीन तेल मे मंदी के बाद फिर तेजी सोयाबीन तेल के भाव माह के प्रारंभ में कम होने के बाद दूसरे सप्ताह मे बढ़े और थोक में ही 150 रुपए किलो तक पहुंच गए थे। इसके बाद भाव मे लगातार गिरावट आई और सप्ताह भर से थोक में 135 से 140 रुपए किलो थे। मंगलवार को भाव बढ़कर 146 रुपए किलो तक पहुंच गए।
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