झाबुआ~1 से 19 साल तक के 6.33 लाख बच्चों खिलाएंगे गोली~~
राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस पर 13 सितंबर को स्कूलों और आंगनवाड़ी केंद्रों पर चलाया जाएगा अभियान~~
राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस पर 13 सितंबर को स्कूलों और आंगनवाड़ी केंद्रों पर चलाया जाएगा अभियान~~
राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस पर जिले में महाअभियान के तहत 1 से 19 साल के तक के 6.33 लाख बच्चों को कृमि नाशक गोली खिलाई जाएगी। यह गोली जिले में स्थित सरकारी,निजी व अनुदान प्राप्त स्कूलों सहित आंगनवाड़ी व आरोग्य केंद्रों पर निर्धारित टीम सदस्यों द्वारा खिलाई जाएगी। जिले में विगत दिनों कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में कलेक्टर सोमेश मिश्रा ने आयोजित बैठक में जिला स्वास्थ्य विभाग सहित स्कूल शिक्षा विभाग,महिला बाल विकास विभाग,आदिम जाति विभाग एवं अन्य सहयोगी विभागों व संस्थाओं के प्रमुखों से अभियान को लेकर चर्चा की थी। इसमें निर्देश दिए थे कि स्वास्थ्य विभाग से समन्वय स्थापित कर योजनानुसार राष्ट्रीय महत्व के अभियान के तहत 13सितंबर को सभी पात्र बच्चों को कृमि नाशन की गोली अवश्य खिलाए।
6.33 लाख बच्चों को गोली खिलाने का लक्ष्य..................
सीएमएचओ डॉ.जयप्रकाश ठाकुर ने बताया कि शासन के निर्देशानुसार जिले में 1 से 19 साल उम्र के 6.33 लाख बच्चों को 13 सितंबर को कृमि नाशक गोली खिलाने का लक्ष्य रखा है। इसके लिए टीम बनाने के साथ अंतिम स्तर तक जिम्मेदारी सौंपी जा चुकी है।
वंचित बच्चों को 16 सितंबर को गोली खिलाई जाएगी.............
जिला टीकाकरण अधिकारी डा.ॅराहुल गणावा ने बताया की निर्धारित उम्र के बच्चों को नोडल शिक्षक,आंगनवाड़ी कार्यकर्ता,आशा की निगरानी में कृमि नाशक की दवा दी जाएगी। गोली खाने से वंचित बच्चों को 16 सितंबर को विशेष अभियान के तहत गोली खिलाई जाएगी।
प्रतिवर्ष एल्बेंडाजोल की गोली का सेवन करें...........
डॉ.एम् किराड़ ने बताया कि हाथ साबुन से धोते रहें, आसपास साफ.-सफाई रखें, हमेशा साफ पानी पीए,नाखून साफ व छोटे रखें, खुले में शौच न करें, जूते-चप्पल पहने, खाने को ढककर रखें, फल व सब्जियां साफ पानी से धोएं,प्रतिवर्ष एल्बेंडाजोल की गोली का सेवन करें।
कृमि संक्रमण से यह नुकसान .....
कुपोषण और खून में कमी होती है। जिसके कारण हमेशा थकावट होती है। संपूर्ण शारीरिक व मानसिक विकास नहीं होता है।
रोकथाम आसान है कृमि संक्रमण रोकना आसान है।
एनीमिया मुक्ति के लिए आयरन गोली दे रहे..................................
बालक-बालिकाओं के बेहतर स्वास्थ्य के लिए एनीमिया मुक्त भारत अभियान तहत सभी सरकारी,अनुदान प्राप्त स्कूलों में शासन द्वारा आयरन फोलिक एसिड की गोली निशुल्क दी जा रही है। इन गोलियों को प्रति मंगलवार शिक्षकों द्वारा बच्चों को खिलाई जाती है। बच्चों को आयरन की गुलाबी गोली और 10से 19 साल के बच्चों को आयरन की नीली गोली प्रति मंगलवार खिलाई जाती है। आयरन की गोली प्रति सप्ताह खाने से बच्चों का उचित मानसिक व शारीरिक विकास होता है। स्वास्थ्य विभाग की एएनएम,आशा,आंगनवाड़ी,स्कूल के नोडल शिक्षकों द्वारा सहयोग कर विद्यालयों में भी आयरन टेबलेट खिलाई जा रही है।
..............................डॉ.जयप्रकाश ठाकुर-सीएमएचओ
6.33 लाख बच्चों को गोली खिलाने का लक्ष्य..................
सीएमएचओ डॉ.जयप्रकाश ठाकुर ने बताया कि शासन के निर्देशानुसार जिले में 1 से 19 साल उम्र के 6.33 लाख बच्चों को 13 सितंबर को कृमि नाशक गोली खिलाने का लक्ष्य रखा है। इसके लिए टीम बनाने के साथ अंतिम स्तर तक जिम्मेदारी सौंपी जा चुकी है।
वंचित बच्चों को 16 सितंबर को गोली खिलाई जाएगी.............
जिला टीकाकरण अधिकारी डा.ॅराहुल गणावा ने बताया की निर्धारित उम्र के बच्चों को नोडल शिक्षक,आंगनवाड़ी कार्यकर्ता,आशा की निगरानी में कृमि नाशक की दवा दी जाएगी। गोली खाने से वंचित बच्चों को 16 सितंबर को विशेष अभियान के तहत गोली खिलाई जाएगी।
प्रतिवर्ष एल्बेंडाजोल की गोली का सेवन करें...........
डॉ.एम् किराड़ ने बताया कि हाथ साबुन से धोते रहें, आसपास साफ.-सफाई रखें, हमेशा साफ पानी पीए,नाखून साफ व छोटे रखें, खुले में शौच न करें, जूते-चप्पल पहने, खाने को ढककर रखें, फल व सब्जियां साफ पानी से धोएं,प्रतिवर्ष एल्बेंडाजोल की गोली का सेवन करें।
कृमि संक्रमण से यह नुकसान .....
कुपोषण और खून में कमी होती है। जिसके कारण हमेशा थकावट होती है। संपूर्ण शारीरिक व मानसिक विकास नहीं होता है।
रोकथाम आसान है कृमि संक्रमण रोकना आसान है।
एनीमिया मुक्ति के लिए आयरन गोली दे रहे...........................
बालक-बालिकाओं के बेहतर स्वास्थ्य के लिए एनीमिया मुक्त भारत अभियान तहत सभी सरकारी,अनुदान प्राप्त स्कूलों में शासन द्वारा आयरन फोलिक एसिड की गोली निशुल्क दी जा रही है। इन गोलियों को प्रति मंगलवार शिक्षकों द्वारा बच्चों को खिलाई जाती है। बच्चों को आयरन की गुलाबी गोली और 10से 19 साल के बच्चों को आयरन की नीली गोली प्रति मंगलवार खिलाई जाती है। आयरन की गोली प्रति सप्ताह खाने से बच्चों का उचित मानसिक व शारीरिक विकास होता है। स्वास्थ्य विभाग की एएनएम,आशा,आंगनवाड़ी,स्कूल के नोडल शिक्षकों द्वारा सहयोग कर विद्यालयों में भी आयरन टेबलेट खिलाई जा रही है।
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