*23 को राहु - केतु का राशि परिवर्तन , इन क्षेत्र के लोगों को हो सकता है बड़ा फायदा* *( डाँ. अशोक  शास्त्री )*

          राहु और केतु कोई भौतिक ग्रह नहीं हैं । इन्हें छाया ग्रह माना जाता है। ये सूर्य और चन्द्रमा के परिक्रमा मार्ग के कटान से उत्पन्न हुए हैं । राहु स्वतंत्र रूप से शनि का प्रभाव रखता है , जबकि स्वतंत्र रूप से केतु मंगल का प्रभाव रखता है । राहु किसी ग्रह के प्रभाव को कम कर देता है। केतु किसी ग्रह के प्रभाव को काफी बढ़ा देता है । केतु किसी ग्रह के प्रभाव को काफी बढा देता है ।
          इस संदर्भ मे मालवा के प्रसिद ज्योतिषाचार्य डाँ. अशोक शास्त्री ने एक विशेष चर्चा मे बताया कि राहु ग्रह 23 सितंबर को सुबह 5:31 बजे मिथुन राशि से वृषभ राशि में गोचर करेगा । यहां 12 अप्रैल 2022 तक स्थित रहेगा । राहु का यह राशि परिवर्तन इस साल की सबसे बड़ी ज्योतिषीय घटनाओं में से एक होगी । डाँ. अशोक शास्त्री ने बताया कि इसी प्रकार , केतु का गोचर 23 सितंबर को ही सुबह 7:38 बजे धनु राशि से वृश्चिक राशि में होगा । यहां 12 अप्रैल 2022 सुबह 8:48 बजे तक रहेगा ।
         
            *इन क्षेत्रों मे होगा लाभ*
 
           डाँ. अशोक शास्त्री के मुताबिक राहु इलेक्ट्रिकल , इलेक्ट्रॉनिक्स और संचार के क्षेत्र में सफलता देता है । वह अभिनय और राजनीति के क्षेत्र में भी सफलता देता है । आकस्मिक रूप से ऊंचाइयां भी देता है । केतु अनुसंधान और रहस्य के क्षेत्र में सफलता देता है । यह व्यक्ति को साहसी भी बनाता है । केतु का शुभ प्रभाव व्यक्ति को अध्यात्मिक सफलता भी देता है । यह व्यक्ति को धार्मिक स्थलों की यात्रा भी करवाता है ।
*राहु - केतु का अशुभ प्रभाव क्या है?*
          राहु जीवन में आकस्मिक समस्याएं पैदा करता है। यह व्यक्ति के जीवन और आदतों को दूषित कर देता है। इसके कारण व्यक्ति मलिन और धूर्त हो जाता है। राहु अज्ञात भय, अज्ञात रोग और आत्महत्या की तरफ भी ले जाता है। केतु रोग की आशंका को काफी बढ़ा देता है। यह गंभीर विकार या किडनी के रोग और त्वचा की विचित्र समस्याएं देता है। यह कभी-कभी व्यक्ति को तंत्र मंत्र के गलत रास्ते पर भी ले जाता है । डाँ. शास्त्री के मुताबिक ज्योतिषशास्त्र में राहु - केतु को छाया ग्रह माना गया है । राहु - केतु अगर बिगड़ जाएं तो जिंदगी को नरक बना देते हैं और अगर देने पर आएं तो गरीब को भी राजा बना देते हैं । इस वजह से इन दोनों का राशि परिवर्तन कई लोगों के लिए राहत लेकर आएगा , तो कुछ राशियों कों परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है ।

*बिमारी में मिल सकती है राहत*
           डाँ. शास्त्री के मुताबिक 2020 का मूलांक 4 आता है । इसका राशि स्वामी राहु है । राहु का असर कोरोना वायरस व अन्य बीमारियों से भी जुड़ा दिख रहा है । राहु के राशि परिवर्तन से कोरोना का असर न्यूनतम स्थिति में आने की संभावना है । राहु के राशि परिवर्तन से अचानक लाभ , अचानक कष्ट या नुकसान देखने को मिल सकता है । प्रदेश व देश के विकास में सहायक होगा तो सत्ता पक्ष में बेचैनी बढाएगा ।

                  *ज्योतिषाचार्य*
          डाँ. पं. अशोक नारायण शास्त्री
         श्री मंगलप्रद् ज्योतिष कार्यालय
245, एम. जी. रोड ( आनंद चौपाटी ) धार, एम. पी.
                  मो. नं.  9425491351

             *राशिफल*
          ज्योतिषाचार्य डाँ. अशोक शास्त्री के मुताबिक इन दोनों ग्रहों के गोचर से राशि जातकों के साथ ही राज और प्रशासन पर असर देखने को मिलेगा ।  मेष , कर्क , सिंह , और वृश्चिक राशि वालों के लिए लाभदायक रहेगा । वहीं अन्य राशियों के लिए प्रतिकूल परिस्थितियों का सामना करना पड सकता है । इसका कई राशियों पर शुभ और अशुभ दोनों तरह का प्रभाव पडेगा । इसे मंगल का छाया ग्रह माना जाता है ।

मेष :~ मेष राशि के जातकों के लिए यह गोचर शुभ परिणाम लेकर आएगा । आपको जीवन के कई क्षेत्रों में सफलता हासिल होने की प्रबल संभावना है । आप में सकारात्मकता और साहस में वृद्धि होगी । पारिवारिक जीवन में थोड़ा उतार चढ़ाव आ सकता है । वैवाहिक जीवन में आपको असमंजस की स्थिति का सामना करना पड़ सकता है । राहु का गोचर इस राशि से दूसरे भाव में होगा । यह गोचर आपकी आर्थिक स्थिति को बेहतर करेगा । कारोबार में कामयाबी मिलेगी । नई योजना की ओर आप आकर्षित होंगे । आर्थिक लाभ होने की संभावना है । वहीं केतु इस राशि से अष्टम भाव में गोचर करेगा। इसके चलते कुछ तनाव हो सकता है । परिवार के कुछ सदस्यों से मतभेद हो सकते हैं । यात्राओं के दौरान कुछ अशुभ सूचना मिल सकती है । खर्च में बढ़ोतरी होगी । धैर्य रखना होगा ।
उपाय :~ भगवान शनिदेव की आराधना करें । तिल का दान करें । हनुमान जी की आराधना करें ।

वृषभ :~ राहु का गोचर वृषभ राशि में ही होगा , इसके चलते इस राशि के जातकों को परेशानी हो सकती है । खर्च में काफी बढ़ोतरी हो सकती है। दफ्तर में माहौल ठीक नहीं रहेगा । आपको धैर्य रखना होगा । केतु का इस राशि से सातवें भाव में गोचर होगा , इसके चलते पारिवारिक जीवन में असर पड़ सकता है । उधार देते समय समय सतर्क रहना होगा । अनजान लोगों से सावधान रहें । नुकसान होने की आशंका है । जोखिम लेने से बचना होगा ।
उपाय :~ ॐ राहवे नमः मंत्र का जप करें। मां दुर्गा और भैरव देव की पूजा करें ।

मिथुन :~ इस राशि से बारहवें भाव में राहु के गोचर से तनाव , हताशा और अनिश्चितता की स्थिति बनेगी । आर्थिक समस्या बढ़ेगी । कारोबार को लेकर ध्यान रखें । नुकसान होने की आशंका है । केतु का गोचर इस राशि से छठवें भाव में होगा । केतु के चलते दिक्कतें बढ़ेंगी । छात्रों को ज्यादा मेहनत करनी होगी । बुजुर्गों को सेहत को लेकर परेशानी हो सकती है । धन हानि होने की आशंका है ।
उपाय :~ पीपल पेड़ की पूजा करें । भगवान विष्णु व माता लक्ष्मी की पूजा करें।

कर्क :~ कर्क राशि से ग्यारहवें भाव में राहु के गोचर से उधार की रकम वापस मिलने की संभावना है । विरोधी सक्रिय हो सकते हैं । परिवार में परेशानी बढ़ सकती है । केतु का इस राशि से पांचवें भाव में गोचर होगा । केतु के प्रभाव के चलते आपके जरूरी कामों के पूरा होने में नई परेशानी आ सकती हैं । युवाओं को कैरियर को लेकर धैर्य रखना होगा । सेहत में उतार चढ़ाव बना रहेगा । जोखिम वाले कामों को त्याग दें ।
उपाय :~ माता महाकाली एवं भैरव देव की पूजा करें। रुद्राक्ष की माला धारण करें। गरीबों को जरूरत के सामान दें।

सिंह :~ सिंह राशि से राहु का गोचर दसवें भाव में होगा । इसके चलते आर्थिक मामलों में भाग्य आपका साथ देगा । दाम्पत्य जीवन में मतभेद उभर सकते हैं । किसी काम को शुरू करने से पहले अच्छी तरह विचार करना जरूरी होगा । केतु का इस राशि से चतुर्थ भाव में गोचर होगा । केतु के प्रभाव से आर्थिक मुश्किलें हो सकते हैं । लेकिन आपको धैर्य रखना होगा । संपत्ति को लेकर लेनदेन न करें । अप्रत्याशित खर्च आपको परेशानी में डालेगा ।
उपाय :~ भगवान शंकर की पूजा करें । रुद्राक्ष धारण करें । कुत्तों को नियमित खाना खिलाएं ।

कन्या :~ इस राशि से नवें भाव में राहु का गोचर होगा । आपको धन लाभ होने की संभावना है । राहु का प्रभाव आपकी आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ करेगा । परिवार के सहयोग से आपके कई काम पूरे होंगे । वहीं केतु का कोचर इस राशि से तीसरे भाव में होगा । केतु का प्रभाव आपको अशांत करेगा । यात्रा करते समय सावधान रहना होगा । चोट लगने की आशंका है । बिना वजह किसी से विवाद हो सकता है । पुरानी बीमारी उभर सकती है ।
उपाय :~ धार्मिक पुस्तकें दान करें । माता सरस्वती की पूजा करें । श्री रामरक्षा स्तोत्र का जप व हनुमान चालीसा का पाठ करें ।

तुला :~ इस राशि से राहु का आठवें भाव में गोचर होगा । यह भाग्य का भाव है । लेकिन राहु के चलते भाग्योदय प्रभावित होगा । अप्रत्याशित रुकावट आने से आपके कार्य समय पर पूरे नहीं होंगे । यात्रा करने का अवसर मिल सकता है । वहीं केतु इस राशि से दूसरे भाव में गोचर करेगा । संपत्ति को लेकर चिंता बनी रहेगी । कानूनी मामले प्रभावित हो सकते हैं । हालांकि दाम्पत्य जीवन में खुशियां रहेंगी ।
उपाय :~ ॐ दुं दुर्गाय नमः मंत्र का जप करें । मंदिर में दान कर जरूरतमंदों को वस्त्र बांटे ।

वृश्चिक :~ इस राशि से राहु का गोचर सातवें भाव में होने से आप अपने पारिवारिक जीवन को लेकर चिंतित हो सकते हैं । जीवनसाथी से मतभेद होने के चलते तनाव रहेगा । कई लोग आपसे दूर हो जाएंगे । वहीं केतु का गोचर इसी राशि में होगा । यह आपको आपके लक्ष्य से भटका सकता है । नई योजना को शुरू करने से पहले विशेषज्ञों से सलाह मशविरा कर लें । अज्ञात भय बना रहेगा ।
उपाय :~ रामभक्त हनुमान की आराधना करें।  पक्षियों को दाना खिलाएं । राम नाम का जप करें ।

धनु :~ धनु राशि में राहु का गोचर छठवें भाव में होगा । इसके चलते शुभफल की प्राप्ति होगी । विरोधियों को परास्त कर पाएंगे । नई दिशा मिलेगी । संपत्ति के मामले सुलझेंगे। इसी तरह वहीं केतु का गोचर इस राशि से बारहवें भाव में होगा । इसके चलते परिवार में कुछ विवाद हो सकते हैं । परेशानी बढ़ेगी । कैरियर से जुड़ी समस्या हल हो सकती है । बेवजह खर्च होंगे । सेहत को लेकर परेशानी हो सकती है ।
उपाय :~ राहु - केतु के मंत्रों का जप व हवन - पूजन करें । गाय को खाना खिलाएं ।

मकर :~ इस राशि से राहु का गोचर पांचवें भाव में होने के कारण आप किसी अज्ञात भय से ग्रसित हो सकते हैं । किसी काम को शुरू करने को लेकर असमंजस की स्थिति रहेगी । किसी से तनाव हो सकता है । केतु का गोचर ग्यारहवें भाव में रहेगा । नए मौके मिलने की संभावना है । आप अपनी समस्या का हल तलाश पाएंगे । छात्रों को दिक्कत हो सकती है । लक्ष्य प्रभावित हो सकता है । परिवार से मतभेद बढ़ेंगे ।
उपाय :~ भगवान कृष्ण की पूजा करें । गायत्री मंत्र का जप करें ।

कुंभ :~  इस राशि में राहु का गोचर चौथे भाव में होगा । दाम्पत्य जीवन में कुछ खटास पैदा होगी। हालांकि यह जल्द दूर हो सकती है। यात्रा पर जाना पड़ सकता है। कारोबार प्रभावित होगा। वहीं केतु का गोचर राशि से दसवें भाव में होगा। आप इस दौरान किसी नए काम को शुरू करने पर विचार न करें। किसी योजना में निवेश को त्याग दें। सेहत में उतार-चढ़ाव बना रहेगा। बुजुर्गों से आशीर्वाद लें।
उपाय :~ शनिवार को वस्त्र का दान करें। अस्पताल में जाकर मरीजों के लिए खाने की व्यवस्था करें ।

मीन :~ मीन राशि से राहु तीसरे भाव मे गोचर करेगा । इस स्थिति मे आपकी दिक्कतें दूर होगी । आप बहुत खुश रहेंगे । सकारात्मकता बढेगी । नया काम प्रारंभ कर सकते है  । केतु के गोचर से आप धर्म - कर्म मै प्रवर्त हो सकते है । यात्रा का अवसर मिलेगा । किसी से विवाद न करे । नई जानकारी मिलेगी । सेहत ठीक रहेगी । परिवार के सदस्यों की सेहत का ध्यान रखे ।
उपाय :~ श्री हनुमान जी और शनि देव की पूजा करें । छोटे बच्चों को चाकलेट , बिस्कुट , और पाठ्य सामग्री वितरित करे । जय हो ।

                  *ज्योतिषाचार्य*
          डाँ. पं. अशोक नारायण शास्त्री
         श्री मंगलप्रद् ज्योतिष कार्यालय
245, एम. जी. रोड ( आनंद चौपाटी ) धार , एम. पी.
                  मो. नं.  9425491351

          *--:  शुभम्  भवतु*  :--*


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